भोपाल: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) में कांग्रेस के पूर्व विधायक विपिन वानखेड़े (Former MLA Vipin Wankhede) और प्रवक्ता विवेक त्रिपाठी (Vivek Tripathi) सहित अन्य को 2 साल की सजा सुनाई गई है. इनके साथ ही आकाश चौहान, आशुतोष चौकसे और धनजी गिरी को भी सजा सुनाई गई है. NSUI में रहते हुए सीएम हाउस घेराव में ये सभी शामिल थे. भोपाल की MP-MLA कोर्ट ने दोनों नेताओं को 11- 11 हजार का जुर्माना भी लगाया है. एनएसयूआई में रहते हुए इन नेताओं द्वारा 2016 में धरना-प्रदर्शन के मामले में कोर्ट ने सजा सुनाई है.
आठ साल पुराने सीएम हाउस के सामने प्रदर्शन के मामले में दोनों नेताओं को सजा सुनाई गई है. शनिवार को भोपाल की एमपी-एमएलए कोर्ट के विशेष न्यायाधीश स्वयं प्रकाश दुबे ने कांग्रेस के पूर्व विधायक विपिन वानखेड़े, NSUI के प्रदेश अध्यक्ष आशुतोष चौकसे, कांग्रेस प्रवक्ता विवेक त्रिपाठी, धनजी गिरी एवं आकाश चौहान को दो साल की सजा और 11-11 हजार जुर्माना लगाया है. दरअसल, साल 2016 में एनएसयूआई में रहते हुए व्यापम घोटाले के विरोध में इन सभी नेताओं ने हजारों कार्यकर्ताओं के साथ लेकर सीएम हाउस का घेराव किया था. उसके बाद इन सभी नेताओं द्वारा हबीबगंज पुलिस की ओर से आईपीसी की धारा 326, 333, 353, 147 के तहत मामला दर्ज किया गया था.
इस फैसले के बाद कांग्रेस प्रवक्ता विवेक त्रिपाठी ने कहा कि वे लोग माननीय न्यायालय के इस फैसले का पूरी तरह से सम्मान करते हैं. राज्य में सत्तासीन भाजपा सरकार प्रतिशोध की राजनीति कर रही है. और यह मामला उसी घटिया राजनीति का एक उदाहरण है. उन्होंने कहा कि उन लोगों ने व्यापम घोटाले के बाद छात्रों के हित में आंदोलन किया था, लेकिन उस राजनीतिक आंदोलन को लेकर गंभीर धाराओं में केस दर्ज किया गया था. उसी केस की सुनवाई करते हुए कोर्ट ने यह सजा सुनवाई है. लेकिन वे लोग कोर्ट से सजा से निराश और हताश नहीं है.
उन्होंने कहा कि आम लोगों के हित में और छात्रों के हित में उन लोगों की लड़ाई जारी रहेगी और अब और दोगुनी ताकत से लड़ाई लडेंगे. उन्होंने कहा कि वे लोग गांधी और नेहरू की विचारधारा पर विश्वास रखते हैं और उन लोगों को जेल जाने से डर नहीं है. लोगों के हित में उनलोगों की लड़ाई जारी रहेगी.
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