नई दिल्ली: पंजाब सरकार ने अकाल तख्त को सूचित किया है कि कट्टरपंथी उपदेशक अमृतपाल सिंह के खिलाफ पुलिस कार्रवाई के दौरान प्रिवेंटिव कस्टडी में लिए गए 360 लोगों में से 348 को अब रिहा कर दिया गया है. अकाल तख्त के जत्थेदार के निजी सचिव जसपाल सिंह ने गुरुवार को कहा कि राज्य सरकार की ओर से संदेश मिला है कि बाकी लोगों को भी जल्द रिहा कर दिया जाएगा.
अकाल तख्त के जत्थेदार ने दिया था अल्टीमेटम
बता दें कि इस हफ्ते की शुरुआत में अकाल तख्त के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने राज्य सरकार को अमृतपाल सिंह और उनके सहयोगियों के खिलाफ पुलिस कार्रवाई के दौरान पकड़े गए सभी सिख युवकों को रिहा करने का अल्टीमेटम दिया था. जत्थेदार ने पुलिस कार्रवाई के दौरान कुछ लोगों के खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा कानून लागू करने के लिए राज्य सरकार की निंदा भी की थी. जत्थेदार के अल्टीमेटम से कुछ दिन पहले पंजाब पुलिस ने कहा था कि हिरासत में लिए गए लोगों में से करीब 30 हार्डकोर अपराधी हैं. वहीं एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा था कि सत्यापन के बाद बाकी को छोड़ दिया जाएगा.
अमृतपाल के आत्मसमर्पण के चलते कड़ी की गई सुरक्षा
वहीं पुलिस ने अमृतसर, बठिंडा और उसके आसपास सुरक्षा कड़ी कर दी है, क्योंकि ऐसी खबरें हैं अमृतपाल सिंह स्वर्ण मंदिर या बठिंडा में तख्त श्री दमदमा साहिब में प्रवेश के बाद आत्मसमर्पण कर सकता है.
18 मार्च से फरार है खालिस्तानी समर्थक अमृतपाल
बता दें कि खालिस्तानी समर्थक अमृतपाल 18 मार्च को उसे पकड़ने के लिए पुलिस द्वारा शुरू किए गए अभियान के बाद से ही फरार है. बुधवार को वह एक वीडियो में दिखाई दिया था. वीडियो में उसने अकाल तख्त से ‘सरबत खालसा’ बुलाने का आग्रह किया था. सरबत खालसा समुदाय से संबंधित मुद्दों पर चर्चा करने के लिए सिखों की एक सभा है. वहीं पंजाब पुलिस ने अमृतपाल सिंह को पकड़ने के लिए मंगलवार को होशियारपुर और उसके आसपास के इलाकों में बड़ा सर्च अभियान चलाया था.
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