• img-fluid

    25 हजार गुर्जर और 30 हजार राजपूत वोट निर्णायक रहते हैं नागदा विधानसभा में

  • October 16, 2023

    • दिलीप गुर्जर को हराना भाजपा के लिए चुनौती-निर्दलीय भी जीत चुके हैं-जिला बनाने का वादा अधूरा

    उज्जैन। नागदा खाचरौद विधानसभा जीतना भाजपा के लिए दूर की कौड़ी साबित हो रही है..यहाँ का जाति गणित भी दिलीप गुर्जर को मदद करता है और इस बार भी उन्हें हराना इतना आसान नहीं होगा, जबकि मुख्यमंत्री ने यहाँ विकास यात्रा निकालकर अपनी ताकत झौंकी थी। नागदा-खाचरौद विधानसभा सीट की जातिगत आधार की बात करें तो यहाँ पर सबसे अधिक राजपूत समाज के वोट हैं। राजपूत समाज के यहाँ पर लगभग 30000, गुर्जर समाज के 25000 और इसके अलावा तीसरा बड़ा समाज यहाँ पर धाकड़ समाज आता है जिसके भी 30000 के आसपास वोट है। इसके अलावा यहां पर 20000 मुसलमान, 10000 रविदास समाज, 10000 बलाई समाज और 20 हजार बागरी समाज के वोट आते हैं। इस सीट पर 1977 से अब तक लगातार विधानसभा चुनाव हुए हैं जिसमें चार बार कांग्रेस जीती है और एक बार कांग्रेस के ही निर्दलीय दिलीप सिंह गुर्जर चुनाव जीते हैं। इस सीट का मिजाज ऐसा कि यदि राजनीतिक दल गलत फैसला करते हैं तो यहाँ की जनता निर्दलीय प्रत्याशी को जीत देती है। जिले की एकमात्र सीट ऐसी है जहाँ अब तक दो निर्दलीय विधानसभा चुनाव जीत चुके हैं। 1967 में यहाँ भैरव भारती को भी निर्दलीय चुनाव लोगों ने जिताया था और वर्ष 2008 में दिलीप सिंह गुर्जर को कांग्रेस ने टिकट नहीं दिया था और वह इंजन चुनाव चिन्ह लेकर चुनाव लड़े थे और भारी जीत दर्ज की थी।



    1993 से दिलीप सिंह गुर्जर चुनाव लड़ रहे हैं। किसी कारणवश उन्हें 2008 में कांग्रेस ने गुटबाजी के चलते टिकट नहीं दिया था तो उन्होंने निर्दलीय जीत दर्ज की। भाजपा के उम्मीदवार लगातार बदलते रहे और कुछ ने ही इनमें जीत भी दर्ज की। सबसे पहले 1977 में भाजपा के पुरुषोत्तम राम विपट यहाँ के विधायक रहे। इसके बाद 1990 में लालसिंह राणावत, फिर 1998 में लालसिंह राणावत और उसके बाद लगातार यहाँ दिलीप सिंह गुर्जर 2003 और 2008 में विधायक बने और 2013 में दिलीप सिंह शेखावत ने दिलीप गुर्जर को हराया था और 2018 में फिर दिलीप सिंह गुर्जर विधायक बने और अब कांग्रेस पार्टी ने 2023 के विधानसभा चुनाव में दिलीप सिंह गुर्जर को उतारा है, वहीं भाजपा ने परिवर्तन करते हुए दो बार भाजपा जिला अध्यक्ष रह चुके डॉ. तेज बहादुर सिंह चौहान को चुनाव में उतारा है। वह राजपूत समाज से आते हैं। कांग्रेस ने गुर्जर समाज के प्रत्याशी को उतारा है तो बीजेपी ने राजपूत समाज के प्रत्याशी को उतारा है, ऐसे में अन्य समाज निर्णायक की स्थिति में हो सकते हैं। इनमें धाकड़ समाज और रविदास, बलाई तथा बागरी समाज का झुकाव जिसकी ओर होगा उस पार्टी का प्रत्याशी यहाँ जीत दर्ज कर सकता है। वैसे मुकाबल यहाँ कशमकश का है क्योंकि चार बार चुनाव जीत चुके दिलीप सिंह गुर्जर बहुत मजबूत प्रत्याशी है और उन्होंने कांग्रेस के अलावा निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में भी जीत दर्ज की है। इस विधानसभा में कुल वोट की बात करें तो यहाँ 221242 मतदाता हैं, इनमें पुरुष मतदाता की संख्या 112046 है और महिला मतदाताओं की संख्या 100185 है। पुरुष मतदाताओं से महिला मतदाताओं की संख्या 3000 कम है।

    Share:

    रविवार को विश्व प्रसिद्ध बगलामुखी मंदिर पर उमड़ा भक्तों का सैलाब

    Mon Oct 16 , 2023
    पीतांबरा सेवा समिति ने लगाया माँ को छप्पन भोग-प्रशासन ने सम्हाली व्यवस्था नलखेड़ा। विश्व प्रसिद्ध माँ बगलामुखी मंदिर में शारदीय नवरात्रि के पहले ही दिन रविवार को बड़ी संख्या में श्रद्धालु दर्शन करने पहुँचे। जहाँ भक्तों के महासैलाब को देख प्रशासन को गर्भगृह में भक्तों का प्रवेश बंद करना पड़ा। माँ के दरबार में मत्था […]
    सम्बंधित ख़बरें
  • खरी-खरी
    रविवार का राशिफल
    मनोरंजन
    अभी-अभी
    Archives
  • ©2024 Agnibaan , All Rights Reserved