1. मोदी के विकल्प में पीएम पद के लिए सबसे पसंदीदा व्यक्ति कौन? सर्वे में सामने आया ये नाम
आगामी लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Elections)से पहले नरेंद्र मोदी (Narendra Modi)एक बार फिर से प्रधानमंत्री (Prime Minister)पद के सबसे पसंदीदा चेहरा बने हुए हैं। एक सर्वे(survey) में ये बात कही गई है। ऐसे में सवाल उठता है कि मोदी के बाद पीएम पद के लिए सबसे पसंदीदा व्यक्ति कौन? दरअसल भारतीय जनता पार्टी पिछले दोनों चुनाव नरेंद्र मोदी के चहरे पर लड़ती आ रही हैं और तीसरा चुनाव भी उन्हीं के चेहरे पर लड़ा जाएगा। लेकिन विपक्ष ने पीएम पद के लिए अपना चेहरा घोषित नहीं किया। मीडिया के एक ओपिनियन पोल में कहा गया है कि सर्वे में शामिल 59 फीसदी लोगों ने माना कि प्रधानमंत्री पद के लिए सबसे सक्षम चेहरा फिलहाल नरेंद्र मोदी हैं। हालांकि दूसरे नंबर कांग्रेस नेता राहुल गांधी हैं। सर्वे के मुताबिक 21 फीसदी लोगों ने पीएम पद के लिए राहुल गांधी को सबसे उपयुक्त चेहरा हैं। इस मामले में राहुल की लोकप्रियता मोदी से 38 फीसदी कम है।
2. MP में आज से हवाई सेवा, CM मोहन यादव करेंगे पर्यटन स्थलों के लिए एयर टैक्सी का शुभारंभ
लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election) से पहले मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव (CM Mohan Yadav) प्रदेश में गुरुवार दोपहर 12.30 बजे स्टेट हैंगर भोपाल (Bhopal) से पीएम (PM) श्री पर्यटन वायु सेवा (Air Service) और पीएम श्री धार्मिक पर्यटन (tourist places) हेली सेवा का शुभारंभ करेंगे। इसका उद्देश्य प्रदेश के अंदर पर्यटन स्थलों को हवाई सेवा से जोड़ना है। इसमें दो 8-8 सीटर विमान हैं। इसके अलावा एक अन्य कंपनी का हेलीकॉप्टर उपलब्ध रहेगा। जानकारी के अनुसार हवाई टैक्सी का न्यूनतम किराया तीन हजार रुपये तक रह सकता है। हालांकि, यह दूरी के हिसाब से तय होगा। इसको लेकर अभी अंतिम निर्णय होना बाकी है। सेवा की शुरुआत में कंपनी ने अपना रूट प्लान तैयार किया है। इसमें कंपनी का दिन के अनुसार रूट प्लान बदलता रहेगा। प्रारंभिक चरण में भोपाल, जबलपुर, रीवा, खजुराहो, उज्जैन और पमचढ़ी को धार्मिक पर्यटन हवाई सेवा से जोड़ा जाएगा। इसका दायरा बढ़ा कर आने वाले समय में पर्यटकों की मांग के अनुसार अन्य शहरों को जोड़ा जाएगा।
3. ‘एक देश, एक चुनाव’ पर मोदी सरकार का बड़ा कदम, कोविंद कमेटी ने राष्ट्रपति को सौंपी रिपोर्ट
लोकसभा चुनाव से पहले ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ (‘One Nation, One Election’) पर बड़ा अपडेट सामने आया है. भारत के पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द की अध्यक्षता में एक साथ चुनाव कराने को लेकर गठित उच्च स्तरीय समिति ने राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मुलाकात की और अपनी रिपोर्ट सौंपी. इस दौरान केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह भी मौजूद रहे. रामनाथ कोविंद पैनल की यह रिपोर्ट कुल 18,626 पन्नो की है. बताया गया कि हाई लेवल कमेटी ने हितधारकों, विशेषज्ञों के साथ व्यापक विचार-विमर्श, परामर्श और 191 दिनों तक लगातार काम करने के बाद यह रिपोर्ट तैयार की है, जिसे आज राष्ट्रपति को सौंपी गई है. माना जा रहा है कि 2029 में एक साथ चुनाव कराने की सिफारिश की गई है. दरअसल, लोकसभा और राज्यों की विधानसभा के सहित विभिन्न निकायों के एक साथ चुनाव कराने पर पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की अध्यक्षता वाली उच्च स्तरीय समिति देश में एक साथ चुनाव कराने के लिए संविधान के अंतिम पांच अनुच्छेदों में संशोधन की सिफारिश कर सकती है. प्रस्तावित रिपोर्ट लोकसभा, राज्य विधानसभा और स्थानीय निकाय चुनाव कराने के लिए एक एकल मतदाता सूची पर भी ध्यान केंद्रित करेगी.
4. अरविंद केजरीवाल आनन-फानन में पहुंचे कोर्ट, इस आदेश के खिलाफ लगाई अर्जी
शराब घोटाला केस में बार-बार ईडी के समन को इग्नोर करने वाले दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल (Delhi Chief Minister Arvind Kejriwal) अब कोर्ट पहुंचे हैं. अरविंद केजरीवाल ने ईडी द्वारा जारी समन का अनुपालन न करने के लिए दायर शिकायतों पर अतिरिक्त मुख्य मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट द्वारा जारी किए गए समन को चुनौती देते हुए राउज एवेन्यू कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. अरविंद केजरीवाल ने विशेष न्यायाधीश राकेश सयाल के समक्ष पुनरीक्षण याचिका दायर की है. उम्मीद की जा रही है कि अदालत आज अरविंद केजरीवाल की अर्जी पर दलीलें सुनेगी. दिल्ली शराब घोटाला केस में अरविंद केजरीवाल अब तक एजेंसी द्वारा जारी किए गए आठ समन को छोड़ चुके हैं. 16 मार्च को अरविंद केजरीवाल को कोर्ट में पेश होने का आदेश दिया गया था. दिल्ली की एक अदालत ने कथित आबकारी घोटाले से जुड़े धन शोधन मामले में समन को नजरअंदाज करने को लेकर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की शिकायत पर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को तलब किया गया है.
5. युवाओं के बाद कांग्रेस का महिलाओं पर दांव, मोदी के साइलेंट वोटबैंक में सेंधमारी का प्लान
कांग्रेस (Congress) लोकसभा चुनाव से पहले अपने सियासी समीकरण को दुरुस्त करने में जुटी है. बीजेपी और पीएम मोदी (PM Modi) को मिल रही लगातार जीत में सबसे अहम भूमिका दो बड़े वोटबैंक की मानी जाती है, जिसमें एक युवा हैं तो दूसरा महिला. बीजेपी के इन दोनों ही वोटबैंक पर कांग्रेस की नजर है. युवाओं के लिए ‘रोजगार गारंटी’ का ऐलान करने के बाद कांग्रेस ने आधी आबादी को साधने के लिए ‘नारी न्याय गारंटी’ का बड़ा दांव चला है. कांग्रेस ने सत्ता में आने के बाद गरीब महिलाओं को हर साल एक लाख रुपये की मदद और सरकारी नौकरियों में 50 फीसदी महिला आरक्षण देने सहित पांच बड़े वादे किए हैं. 2024 के लोकसभा चुनाव के लिहाज से कांग्रेस का दांव माना जा रहा है, लेकिन क्या बीजेपी के मजबूत वोटबैंक में सेंधमारी का प्लान कामयाब होगा? कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने बुधवार को ‘नारी न्याय गारंटी’ का ऐलान करते हुए कहा कि महिला हमारे देश की आधी आबादी है, लेकिन पिछले दस सालों में उन्हें कुछ नहीं मिला. काम सिर्फ उनके नाम पर सियासत कर उनसे वोट लेना का हुआ है. ऐसे में कांग्रेस देश की महिलाओं के लिए ‘नारी न्याय गांरटी’ की घोषणा करती है. इसके तहत गरीब महिलाओं, आशा, आंगनवाड़ी, मीड डे मील वर्कर्स के साथ ही कामकाजी महिलाओं के लिए घोषणा की गई है.
नागरिकता संशोधन कानून (Citizenship Amendment Act) लागू होने के बाद से विपक्ष लगातार केंद्र सरकार (Central government) पर हमला बोल रही है. इस बीच केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने विपक्ष को जवाब देते हुए सीएए को लेकर कई बातें कही हैं. अमित शाह ने न्यूज एजेंसी एएनआई को दिए इंटरव्यू में मुसलमानों को इस कानून से बाहर रखने की वजह भी बताई. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश इस्लामी राज्य हैं. फिर वहां मुसलमान धार्मिक अल्पसंख्यक कैसे हो सकते हैं? हालांकि उन्होंने कहा कि यदि वे अब भी भारतीय नागरिकता चाहते हैं, तो वे संवैधानिक तरीकों से इसके लिए आवेदन कर सकते हैं. अमित शाह ने पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी के उस बयान पर भी प्रतिक्रिया दी जिसमें उन्होंने अपने राज्य में इस कानून को लागू न होने देने की बात कही थी. अमित शाह ने कहा कि नागरिकता केंद्र का मुद्दा है और सीएए को कोई राज्य सरकार रद्द नहीं कर सकती. इसलिए विपक्ष वाले सिर्फ बयानबाजी कर रहे हैं. मैं ममता बनर्जी को खुली चुनौती देता हूं कि इस कानून में किसी की नागरिकता छीनने वाली एक धारा भी हो तो वो बता दें. ममता सिर्फ खौफ पैदा कर रही हैं. वह हिंदू और मुसलमानों के बीच विवाद कराना चाहती हैं.
बिहार विधान परिषद चुनाव (Bihar Legislative Council Election) के लिए सभी 11 उम्मीदवार निर्विरोध निर्वाचित हो गए हैं। आज नामांकन की अंतिम तारीख थी। 11 सीटों पर 11 उम्मीदवार उतरने की वजह से सभी को निर्विरोध निर्वाचित घोषित किया गया। नीतीश कुमार, राबड़ी देवी, मंगल पांडे और संतोष सुमन समेत सभी 11 उम्मीदवार एक बार फिर से एमएलसी बन गए हैं। निर्वाचित होने वाले सदस्यों में तीन बीजेपी, जेडीयू से 2, आरजेडी से चार, माले और हम पार्टी से एक-एक सदस्य निर्वाचित हुए हैं। सीएम नीतीश कुमार जीत का सर्टिफिकेट लेने खुद पहुंचे। जबकि पूर्व सीएम राबड़ी देवी सर्टिफिकेट लेने के लिए अपने विश्वसनीय नेता भोला यादव को भेजा। वो खुद नहीं पहुंची। इसके साथ ही सभी 11 उम्मीदवारों को जीत सर्टिफिकेट मिल गया।
8. इन 4 राष्ट्रीय पार्टियों ने किया एक देश एक चुनाव का विरोध, कमेटी को गिनाईं ये वजह
‘वन नेशन वन इलेक्शन’ (‘One Nation One Election’) को लेकर पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द (Former President Ramnath Kovind) की अध्यक्षता में हाईलेवल कमेटी ने अपनी रिपोर्ट राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू (President Draupadi Murmu) को सौंप दी है. एक ओर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) के सभी चार पूर्व मुख्य न्यायाधीश जस्टिस दीपक मिश्रा, जस्टिस रंजन गोगोई, जस्टिस शरद अरविंद बोबडे और जस्टिस यूयू ललित से परामर्श करने वाले पैनल ने लिखित प्रतिक्रियाएं दीं, जिनमें से सभी एक साथ चुनाव कराने के पक्ष में दिखे, तो वहीं हाईकोर्ट के तीन पूर्व चीफ जस्टिस और एक पूर्व राज्य चुनाव आयुक्त ने ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ के विचार पर आपत्ति जताई है. ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ पर कमेटी ने 62 पार्टियों से संपर्क किया था, जिनमें से 47 ने जवाब दिया. इसमें 32 पार्टियो ने एक साथ चुनाव कराने का समर्थन किया, जबकि 15 पार्टियों ने इसका विरोध किया और 15 पार्टियों ने इसका जवाब नहीं दिया. राष्ट्रीय दलों में से कांग्रेस, आम आदमी पार्टी, बहुजन समाज पार्टी और भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) ने प्रस्ताव का विरोध किया, जबकि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और नेशनल पीपुल्स पार्टी ने इसका समर्थन किया. रिपोर्ट में कहा गया है कि 15 राजनीतिक दलों को छोड़कर 47 राजनीतिक दलों से प्रतिक्रियाएं प्राप्त हुईं है.
9. ज्ञानेश और सुखबीर बने नए चुनाव आयुक्त, जारी हुआ नोटिफिकेशन
लंबे चले सियासी हंगामें और हलचल के बीच चुनाव आयुक्तों की नियुक्ति (Appointment of election commissioners) को लेकर आधिकारिक जानकारी सामने आ गई है. कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी (Congress leader Adhir Ranjan Chaudhary) ने इस पद के लिए जिन दो नामों की संभावना जताई थी, गुरुवार शाम को जारी नोटिफिकेशन में उन्हीं का नाम निकलकर सामने आया है. यानी कि ज्ञानेश कुमार और सुखबीर सिंह संधू (Gyanesh Kumar and Sukhbir Singh Sandhu) चुनाव आयुक्त बना दिए गए हैं. नियुक्ति को लेकर नोटिफिकेशन जारी किया गया है. बता दें कि ज्ञानेश कुमार कुछ दिनों पहले ही सहकारिता मंत्रालय के सचिव पद से रिटायर हुए हैं. यहां ज्ञानेश ने मंत्रालय के गठन के समय से लेकर अब तक काम किया. सहकारिता मंत्रालय गृह मंत्री अमित शाह के अंतर्गत आता है. इससे पहले ज्ञानेश कुमार गृह मंत्रालय में कश्मीर डिवीजन के जॉइंट सेक्रेटरी थे, उनके समय ही धारा 370 हटाई गई थी. ज्ञानेश कुमार ने जम्मू-कश्मीर को केंद्र शासित प्रदेश में बदलने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. गृह मंत्रालय के साथ काम करते हुए उनकी जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन विधेयक की तैयारी में भी सक्रिय भूमिका रही. गृह मंत्रालय में ज्ञानेश पदोन्नत होकर एडिशनल सेक्रेटरी भी बने थे. वह 1988 बैच के केरल काडर के आईएएस ऑफिसर हैं.
10. राजस्थान में सस्ता हुआ पेट्रोल-डीजल, कर्मचारियों के DA में भी दो फीसदी की बढ़ोतरी
राजस्थान में भाजपा सरकार (BJP government in Rajasthan) ने आम आदमी को बड़ी राहत दी है और सरकारी कर्मचारियों (government employees) को बड़ा तोहफा दिया है. यहां पेट्रोल और डीजल (petrol and diesel) में वैट 2 परसेंट कम कर दिया गया है. इससे पेट्रोल 1.40 रुपये से लेकर 5.30 रुपये तक सस्ता हो गया है. वहीं, डीजल 1.34 रुपये से लेकर 4.85 रुपये तक सस्ता हो गया है. पेट्रोलियम पदार्थों (petroleum products) के घटे हुए दाम शुक्रवार सुबह 6 बजे से लागू होंगे. वहीं, राज्य कर्मचारियों का डीए भी 2 परसेंट बढ़ा दिया (DA of state employees increased by 2%) गया है. लोकसभा चुनावों से पहले राजस्थान में भजनलाल सरकार ने यह बड़ी राहत दी है. राजस्थान में कैबिनेट की बैठक के बाद यह फैसला लिया गया है.
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